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भारत छोड़ो आंदोलन

द्वितीय विश्व युद्ध में भारतीयों की सहमति के बिना इंग्लैंड द्वारा भारत को युद्ध मे सम्मिलित कर लेने की घोषणा से सन 1937 ईस्वी में नियुक्त मन्त्री मण्डल से त्याग पत्र दे दिया गया। इसके कुछ वर्षों बाद 1942 ईस्वी में क्रिप्स मिशन भारत मे लाया गया परन्तु ये सफल नही हो सका। और इसकी असफलता के बाद 8 अगस्त 1942 को "भारत छोड़ो आंदोलन " प्रारम्भ हुआ।इस आंदोलन को तीव्र गति देने के लिए महात्मा गांधी ने "करो या मरो " का नारा दिया।

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